प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने ‘मन की बात’ में शोपियां जिले के मोहम्मद असलम का किया जिक्र
   29-जुलाई-2019

 
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 28 जुलाई रविवार को मन की बात कार्यक्रम में बैक टू विलेज प्रोग्राम का जिक्र किया। उन्होंने सरकारी वेबसाइट mygov पर आये शोपियां जिले के मोहम्मद असलम के कमेंट को याद करते हुए बैक टू विलेज प्रोग्राम की तारीफ भी किया।
 
किस कमेंट पर प्रधानमंत्री मोदी ने मोहम्मद असलम के बारे में जिक्र किया ?
 
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने मन की बात में कहा कि पीछले दिनों उन्होंने mygov वेबासाइट पर एक कमेंट पढ़ा। वो कमेंट जम्मू कश्मीर के शोपियां जिले के रहने वाले मोहम्मद असलम का था। असलम ने कमेंट में लिखा था कि “ मन की बात कार्यक्रम सुनना अच्छा लगता है । उन्होंने लिखा कि मुझे बताते हुए खुशी हो रही है कि मैनें अपने राज्य जम्मू कश्मीर के कम्यूनिटी मोबलाइजेशन प्रोग्राम बैक टू विलेज के आयोजन में सक्रिय भूमिका निभाई थी। ये आयोजन जून महीने में हुआ था, लेकिन मुझे लगता है कि ये आयोजन हर 3 महीने पर होना चाहिए। इसके साथ ही कार्यक्रम की ऑनलाइन मॉनिटरिंग की व्यवस्था भी होनी चाहिए। मेरे हिसाब से ये पहला ऐसा कार्यक्रम था जिसमें जनता ने सरकार से सीधा संवाद किया’ ।
 
क्या है बैक टू विलेज प्रोग्राम ?
 
राज्यपाल सत्यपाल मलिक के तरफ से पंचायती राज को मजबूत करने के लिए बीते 20 जुलाई को बैक टू विलेज प्रोग्राम की शुरुआत की गई थी। इसके तहत सभी सरकारी अधिकारी राज्य के हर पंचायत में जाकर लोगों की समस्या को सुना और सरकार की तरफ से चलाई जा रही योजनाओं के बारे में उन्हें बताया। इस पूरे कार्यक्रम के बाद अधिकारियों ने सभी समस्याओं पर रिपार्ट तैयार करके सरकार को दिया। जिससे इन सभी ग्रामीणों की समस्या दूर हो सके।
 
ग्रामीणों की बड़ी समस्याएं क्या रही ?
 
गांव के पंचों ने अधिकारियों से मुख्य रुप से बिजली, पीने का पानी, नहरी पानी, स्वच्छता व शिक्षा से जुड़ी समस्या को बताया। जिसके बाद अधिकारियों ने उन समस्या जल्द दूर करने का आश्वासन दिया।
 
अधिकारी कितने गांव में गये ?
 
सभी सरकारी अधिकारी बिना डर और भय के 7 दिन में करीब 4500 पचांयत गांव में गये और रात में रुककर उन ग्रामीणों से मिले और उनकी समस्याओं को सुना।
 
आतंक से पीड़ित इलाकों में भी गये अधिकारी
 
अधिकारी राज्य के सबसे छोटे क्षेत्र कश्मीर के बेहतर भविष्य और ग्रामीणों की समस्याओं को जानने के लिए कश्मीर घाटी के आतंक से पीड़ित इलाके शोपियां , पुलवामा, और अनंतनाग जैसे क्षेत्रों में भी गये थे।