दिल्ली कार बम धमाके की जांच में सुरक्षा एजेंसियों को बड़ी सफलता मिली है। मुख्य आरोपी डॉ. उमर उन नबी के जम्मू-कश्मीर स्थित घर में छापेमारी के दौरान पुलिस ने कई अहम डिजिटल उपकरण, संदिग्ध मोबाइल फोन और इलेक्ट्रॉनिक डिवाइस बरामद किए हैं। इनसे जांच को महत्वपूर्ण दिशा मिलने की संभावना जताई जा रही है।
जानकारी के मुताबिक डॉ. उमर के घर से मिला मोबाइल फोन नहर में छिपा था। पुलिस के आधिकारिक सूत्रों के अनुसार, डॉ. उमर की कोइल, पुलवामा स्थित संपत्ति के पीछे सिंचाई विभाग की नहर से एक संदिग्ध मोबाइल फोन बरामद किया गया। जांच में पता चला है कि उमर ने कश्मीर की अपनी अंतिम यात्रा के दौरान यह फोन संबूरा, पुलवामा के आमिर को सौंपा था, जिसने इसे आगे उसकी मां तक पहुंचाया था। इसके अलावा पुलिस ने घर से - एक लैपटॉप, एक ड्रोन (टॉय-ग्रेड), कई डिजिटल स्टोरेज डिवाइस भी जब्त किए हैं। सभी उपकरण फोरेंसिक जांच हेतु भेज दिए गए हैं और अधिकारियों का मानना है कि इनमें से कई महत्वपूर्ण डिजिटल प्रमाण मिल सकते हैं।
दो भाई हिरासत में, परिवार से भी पूछताछ
घर पर मौजूद रिश्तेदारों ने बताया कि पुलिस ने सोमवार को छापेमारी के दौरान डॉ. उमर के दोनों भाइयों आशिक अहमद भट, जहूर इलाही भट को हिरासत में लिया है। उमर की भाभी मुजम्मिल अख्तर ने बताया कि उनकी उमर से आखिरी बातचीत शुक्रवार को हुई थी। उसने कहा था कि वह “तीन दिन में घर लौट आएगा।”
इंटेलिजेंस अलर्ट के बाद तीन महीने से कड़ी निगरानी
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि खुफिया एजेंसियों को पिछले तीन महीनों से कुछ महत्वपूर्ण इनपुट मिल रहे थे, जिसके बाद श्रीनगर-जम्मू राष्ट्रीय राजमार्ग की निगरानी बढ़ा दी गई थी। उमर अपनी पिछली यात्रा के दौरान श्रीनगर लौटते हुए इसी राजमार्ग पर सक्रिय रूप से रेकी (surveillance) कर रहा था। यह भी आशंका है कि उसने इसी मार्ग पर सुरक्षित एस्केप रूट और भीड़भाड़ वाले ज़ोन की मैपिंग की थी।
ISI स्लीपर सेल से जुड़ाव की पुष्टि
पुलिस सूत्रों के अनुसार, दिल्ली ब्लास्ट को अंजाम देने वाले यह आरोपी सीधे ISI समर्थित स्लीपर सेल के संपर्क में थे। पाकिस्तान में बैठे आतंकी आकाओं से इन्हें नियमित निर्देश और लक्ष्य मिल रहे थे। पूछताछ में सामने आया है कि गिरफ्तार आरोपियों से मिली जानकारी में डॉ. मुजफ्फर का नाम भी बार-बार सामने आ रहा है। डॉ. मुजफ्फर, दिल्ली विस्फोट मामले में पकड़े गए आरोपी डॉ. आदिल का भाई है।
डॉ. उमर: शानदार अकादमिक करियर, लेकिन आतंकी मंसूबे
अधिकारियों ने बताया कि डॉ. उमर एक हाई-रैंकिंग स्टूडेंट रहा। उसका विवरण-
NEET में 17वीं रैंक,
सरकारी मेडिकल कॉलेज श्रीनगर से MBBS और MD,
एसएमएचएस अस्पताल और जीएमसी अनंतनाग में कार्य अनुभव,
2022 में अल-फलाह यूनिवर्सिटी,
फरीदाबाद में असिस्टेंट प्रोफेसर नियुक्ति,
श्रीनगर में उसकी सगाई भी हो चुकी थी और लड़की UPSC की तैयारी कर रही थी। शिक्षा और करियर में इतनी सफलता के बावजूद उमर की कायराना और हिंसक गतिविधियों ने एजेंसियों को स्तब्ध कर दिया है।
डॉ. मुजम्मिल का ‘डार्क ट्रैक’
उमर के घर से लगभग एक किलोमीटर दूरी पर रहने वाले 32 वर्षीय डॉ. मुजम्मिल अहमद गनई का परिवार भी सदमे में है।
फरीदाबाद से गिरफ्तार किए गए मुजम्मिल के पिता शकील अहमद ने बताया:
मुजम्मिल ने NEET क्लियर किया था।
जम्मू के बत्रा मेडिकल कॉलेज से MBBS किया।
SKIMS से MD पूरा किया।
DNB ट्रेनिंग के लिए अल फलाह यूनिवर्सिटी में दाखिला लिया। वह पिछले दो साल से फरीदाबाद में रह रहा था। पिता ने बताया कि वह जुलाई में उनकी किडनी सर्जरी के दौरान घर आया था और किसी तरह की आपराधिक गतिविधि का संकेत नहीं मिला था।